पुनर्जन्म का नाम सुनते ही हमारे मन में कई सवाल उठने लगते है। सबसे पहले दिमाग में मरने के बाद फिर से जन्म को लेकर बात सामने आ जाती है। आज हम आपको एक ऐसी ही घटना के बारे में आपको बताने जा रहे है, जिसमे एक शख्स जो कुछ सालों से अपने पुनर्जन्म को लेकर काफी चर्चा में बना हुआ है।और वह यह दोबारा जन्म लेकर काफी आश्वस्त भी है, और उसका मानना है कि उसके पास इससे संबंधित उसके पास कई ठोस सबूत भी हैं।
हम आपको आजमगढ़ जिले के अमिलो गांव में रहने वाले मृतक लाल बिहारी के बारे में आपको बताने जा रहे है। यह वह व्यक्ति है जो कि असल में जिंदा है, पर अपने नाम के आगे मृतक जोड़ लिया है। इसका कारण है कि उनके रिश्तेदारों ने उन्हें मृत घोषित कर उनकी जमीन हड़प ली थी। इसके बाद बिहारी 18 सालों तक खुद को कागज पर जिंदा साबित करने की लड़ाई लड़ते रहे, इसके लिए उन्होंने कई तरह से न्याय की गुहार लगाई है।
लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हरी, उन्हें 30 जून 1994 को फिर के कागज पर जीवित घोषित किया गया था तब से लोकर वो सुर्खियों में रहा करते हैं। लाल बिहारी एक बार फिर से चर्चा में आ गए है। अब उनकी दूसरी शादी होने जा रही है, लेकिन वह अपनी पत्नी कर्मी देवी से दोबारा शादी करना चाहते हैं। 66 वर्षीय लाल बिहारी के तीन बच्चे हैं जिनमें दो बेटियां और एक बेटा है, इन सभी की शादी हो चुकी है।
लाल बिहारी का कहना है की, 27 साल पहले सरकारी रिकार्ड में मेरा पुनर्जन्म हुआ था, उसके बाद वह दोबारा जवान हुए है। जिसके लिए वह अब दोबारा अपनी बीवी से शादी करने के बारे में सोच रहे है। इस पुनर्विवाह के जरिए मैं लोगों का ध्यान मृतकों की स्थिति की ओर आकर्षित करना चाहते है। लाल बिहारी कहते हैं कि असल में सरकारी व्यवस्था में अभी भी कुछ खास बदलाव नहीं आया है, अब भी न्याय मिलने में काफी समय लगता है।
उनका कहना है की आज भी हमारे देश में कई लोग ऐसे है जो कानूनी रूप से मृत घोषित किये जा चुके है। लेकिन वह आज भी जिन्दा है, उनकी जमीन को उनके रिश्तेदार और सरकारी अधिकारी मिलकर ह़ड़प कर जाते हैं। आज बिहारी लाल केस लड़कर जीत तो गया, लेकिन पिछले कई सालों से वह इस तरह के पीड़ित लोगों की सहायता कर रहे है।